सिमरो गणपति गौरा नंदन

  • simro gantpati gora nandan

सिमरो गणपति गौरा नंदन जेहड़ा बंदन कटदा,
तुम हो बल बुद्धि के दाता पर्दा खुले घटदा ,

गौरा करन गयी अशनान बालक खड़ा रहा सावधान,
बेटा रखना मेरा ध्यान पर्दा खुले ना घटदा,
सिमरो……..

शिवजी जु जु अंदर आवे बालक माथे बट पावे,
अंदर माता मेरी नहावे पर्दा खुले ना घटदा,
सिमरो…….

शिवा जो क्रोध मन विच आया,
चूक त्रिशूल गल विच पाया,
बालक नु मार गिराया पर्दा खुले ना घटदा,
सिमरो……

गौरा कहती है भगवान मेरा पुत्र करो साफदान,
मेरे निकल रहे है प्राण मेरा जिया है घटदा,
सिमरो……

जिथे होवे कीर्तन मंडली पहले तेरा नाम आवे,
तैनू पूजे दुनिया सारी जेहड़ा बंदन कटदा,
सिमरो…….

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