मेला लगया भोले दा चलो पिंड चहिलां नूं चलिए

  • mela lageya bhole da chalo pind chaila nu chaliye

मेला लगया भोले दा, चलो पिंड चहिलां नूं चलिए
जिथे रहमत वरस रई, भोले दा द्वारा मलिए

पिंड चहलां च मंदिर आलीशान ए
जिथे भोले बाबा जी दी, वखरी ही शान ए,
जिथों चिठ्ठी भोले ने अपणे सब भक्तां नूं घली ए,
मेला लगया भोले दा…

सजियां दुकानां ते बाज़ार वी सजाए ने,
भक्तां ने वखो-वख लंगर वी लाए ने,
हक पासे रोणकां ने, संगत नाल संगत रली ए,
मेला लगया भोले दा…

जिस-जिस दी वी भोले आस पूरी करी ए,
आजो सीस नवाईए नाले धन्यवाद करिए,
जिथे दुध पुत्त मिलदे ने, चलो ओही द्वारा मलिए,
मेला लगया भोले दा…

महामुक्तेश्वर मुक्ति दा धाम ए,
शर्मा परिवार जिथे भोले दा गुलाम ए,
‘राजू उत्तम’ वरगेयां दी, जिथे हर मुसीबत टली ए,
मेला लगया भोले दा…

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